Friday, September 20

New education policy 2020

रीवा। नई शिक्षा नीति के तहत लागू पाठ्यक्रमों में कई कमियां सामने आ रही हैं, जिसकी वजह से अब नए सिरे से पाठ्यक्रम तैयार किए जाएंगे। सरकार ने भारतीय ज्ञान परंपरा विषय के पाठ्यक्रम संरचना की जिम्मेदारी अवधेश प्रताप सिंह विश्वविद्यालय को दी है। जहां मंथन के लिए 13 एवं 14 जुलाई को दो दिवसीय कार्यशाला का आयोजन किया जाएगा। इसमें प्रदेशभर के 27 विश्वविद्यालयों के प्रतिनिधि शामिल होंगे।

विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. राजकुमार आचार्य ने बताया कि तीन वर्ष पूर्व मध्य प्रदेश में नई शिक्षा नीति 2020 को लागू किया गया था। सबसे पहले शुरुआत हुई थी, अब तीन वर्ष बीत जाने के बाद उन पाठ्यक्रमों में संशोधन-परिवर्तन को ध्यान में रखकर प्रदेशभर के विश्वविद्यालयों में अलग-अलग विषय के पाठ्यक्रम संरचना के लिए दो दिवसीय कार्यशाला का आयोजन किया जा रहा है। इसी के तहत अवधेश प्रताप सिंह विश्वविद्यालय में 13-14 जुलाई को कार्यशाला आयोजित की जा रही है।जिसमें 100 लोगों के शामिल होने की संभावना है। इसकी तैयारियां शुरू कर दी गई हैं। आयोजन का नोडल अधिकारी प्रो. श्रीकान्त मिश्र को बनाया गया है।

अध्ययन मंडल की बैठक  

विश्वविद्यालय में अध्ययन मंडल की बैठक 27 जून को दोपहर दो बजे से व्यवसायिक प्रशासन विभाग में आयोजित की गई है। इसमें सभी विभागों के प्रमुखों को भी बुलाया गया है। कुलसचिव ने कहा है कि विश्वविद्यालय अनुदान आयोग और उच्च शिक्षा विभाग के निर्देश पर यूजी और पीजी कोर्स में भारतीय ज्ञान परंपरा को किस तरह से समाहित किया जा सकता है, इस पर चर्चा होगी।

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