Tuesday, April 15

रीवा। बदमाशों ने एक प्राॅपर्टी डीलर को पुलिस की वर्दी पहनकर डिजिटल अरेस्ट किया, लेकिन सतर्कता के कारण उनके पैसे बच गए। यह घटना रीवा शहर में समान थाना क्षेत्र के अरुण नगर निवासी संजीव श्रीवास्तव के साथ हुई। जिसमें संजीव के पास एक वीडियो कॉल आई, जिसमें पुलिस की वर्दी पहने लोग खुद को दिल्ली क्राइम ब्रांच का अधिकारी बता रहे थे। उन्होंने संजीव को बताया कि उनके खाते में 680 करोड़ के बैंक घोटाले की राशि आई है, देश भर में 180 बैंक खातों में ट्रांजेक्शन हुआ है और फिर डिजिटल अरेस्ट कर लिया। आरोपियों ने संजीव से गारंटी के तौर पर पैसे भेजने को कहा, लेकिन उन्होंने सावधानी बरती और रुपए भेजने से मना कर दिया। संजीव ने फोन काट दिया और थाने में जाकर शिकायत दर्ज कराई। पुलिस ने मामले की गंभीरता को समझते हुए इसे साइबर सेल को भेज दिया और आरोपियों की तलाश शुरू कर दी है। फिलहाल, आरोपियों की पहचान नहीं हो पाई है।
————————–
बचाव के लिए चलाया गया था अभियान
लगातार डिजिटल अरेस्ट के मामलों के बढ़ने के बाद पुलिस ने विशेष अभियान चलाया था। इस अभियान के तहत, हर सार्वजनिक स्थान पर लोगों को डिजिटल अरेस्ट और उससे जुड़ी धोखाधड़ी के बारे में जागरूक किया गया। अभियान का उद्देश्य लोगों को इस तरह के साइबर अपराधों से बचने के उपायों के बारे में जानकारी देना था। इसके परिणामस्वरूप, अब लोग डिजिटल अरेस्ट से संबंधित घटनाओं के प्रति अधिक सतर्क हो गए हैं और वे ऐसी किसी भी घटना का सामना करते समय अधिक अलर्ट रहते हैं। इस जागरूकता से डिजिटल अपराधों के प्रति समाज में एक नई समझ पैदा हुई है।
————————–
रीवा में पूर्व में हो चुकी हैं घटनाएं
1- समान थाने के नेहरू नगर में रहने वाले व्यापारी को बदमाशों ने पहले ऑनलाइन काम करने के बदले में लूटा। फिर उन्हें डिजिटल अरेस्ट कर खाते की सारी रकम लूट ली थी। मामला थाने में दर्ज है। आरोपियों का कोई पता नहीं चल पाया।
2- मऊगंज में एक महिला को सिक्के बेचने के नाम पर बदमाशों ने डिजिटल अरेस्ट किया था। बदमाशों की धमकी से डरकर महिला ने आत्महत्या कर ली थी। मऊगंज पुलिस ने राजस्थान से बदमाशों को गिरफ्तार किया था, जो फिलहाल जेल में हैं। मामले में पुलिस आगे खाताधारकों का पता लगा रही है।

….

शिकायतकर्ता को सुनें

-…….

पुलिस का बयान

शिवाली चतुर्वेदी, सीएसपी रीवा

Share.
Leave A Reply